1. हिन्दी समाचार
  2. Breaking News
  3. MP News: ‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हिंदी का मान बढ़ाया’ हिंदी दिवस पर बोले सीएम मोहन यादव

MP News: ‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हिंदी का मान बढ़ाया’ हिंदी दिवस पर बोले सीएम मोहन यादव

भोपाल के रविंद्र भवन में हिंदी दिवस के अवसर पर राष्‍ट्रीय हिंदी भाषा सम्‍मान अलंकरण समारोह एवं कवि सम्‍मेलन का आयोजन हुआ। सीएम डॉ. मोहन यादव ने अपने संबोधन में कहा, "अंग्रेज चले गए लेकिन अंग्रेजी छोड़ गए। अब हमें आत्ममूल्यांकन की आवश्यकता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हिंदी का मान बढ़ाया है, वे विदेशों में भी हिंदी के महत्व को स्थापित कर रहे हैं।

By: Rekha 
Updated:
MP News: ‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हिंदी का मान बढ़ाया’ हिंदी दिवस पर बोले सीएम मोहन यादव

भोपाल के रविंद्र भवन में हिंदी दिवस के अवसर पर राष्‍ट्रीय हिंदी भाषा सम्‍मान अलंकरण समारोह एवं कवि सम्‍मेलन का आयोजन हुआ। इस कार्यक्रम में 2022 और 2023 के कई प्रतिष्ठित सम्मान प्रदान किए गए, जिनमें डिजिटल इंडिया भाषिणी संस्थान (नई दिल्ली), अमकेश्वर मिश्रा (भोपाल), डॉ. हंसा दीप (टोरंटो, कनाडा), डॉ. अनुराग शर्मा (पेंसिलवेनिया, अमेरिका), अतिला कोतलावल (श्रीलंका), दागमार मारकोवा (चेक गणराज्य), डॉ. कृष्ण कुमार मिश्र (मुंबई), देवेंद्र मेवाड़ी (नई दिल्ली), डॉ. दामोदर खड़से (पुणे) और डॉ. मनमोहन सहगल (पटियाला) शामिल रहे।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हिंदी का मान बढ़ाया

सीएम डॉ. मोहन यादव ने अपने संबोधन में कहा, “अंग्रेज चले गए लेकिन अंग्रेजी छोड़ गए। अब हमें आत्ममूल्यांकन की आवश्यकता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हिंदी का मान बढ़ाया है, वे विदेशों में भी हिंदी के महत्व को स्थापित कर रहे हैं। राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के तहत हिंदी को सभी भाषाओं के बीच सेतु के रूप में परिभाषित किया गया।”

उन्‍होंने कहा कि हिंदी ने खड़ी बोली के रूप में उत्तर प्रदेश से अपनी यात्रा शुरू की और मध्यप्रदेश ने इसे अपनाया। साथ ही उन्होंने महान हस्तियों का उल्लेख करते हुए कहा, “हम राम और कृष्ण जैसे महापुरुषों के नाम के आगे ‘श्री’ लगाकर गर्व महसूस करते हैं।”

संस्कृति मंत्री धर्मेंद्र लोधी ने इंग्लिश मीडियम शिक्षा प्रणाली पर भी सवाल उठाए। उनका कहना था कि, “बच्चे अब पश्चिमी संस्कृति का अनुकरण कर रहे हैं। केक काटने और मोमबत्तियां बुझाने जैसी परंपराएं अपनाई जा रही हैं, जबकि हमारी अपनी समृद्ध परंपराएं कहीं पीछे छूट रही हैं।”

इन टॉपिक्स पर और पढ़ें:
Hindi News से जुड़े अन्य अपडेट लगातार हासिल करने के लिए हमें फेसबुक, यूट्यूब और ट्विटर पर फॉलो करे...