नई दिल्ली : कैप्टन अमरिंदर सिंह द्वारा सीएम पद छोड़े जानें के बाद कांग्रेस ने चरणजीत सिंह चन्नी को पंजाब नवनियुक्त मुख्यमंत्री बनाया। इसके लिए पहले उन्होंने ओपी सोनी से पहल की थी। हालांकि उनके द्वारा इनकार करने के बाद चन्नी को पंजाब का मुख्यमंत्री बनाया गया। इसके साथ ही सुखजिंदर रंधावा और ओपी सोनी नए उपमुख्यमंत्री पद की शपथ ली। आपको बता दें कि शपथग्रहण समारोह में कांग्रेस नेता राहुल गांधी भी शामिल हुए।
चन्नी सरकार मंत्रिमंडल में हुआ बड़ा फेरबदल
चरणजीत सिंह चन्नी (Charanjit Singh Channi) सरकार के शपथग्रहण से पहले बड़ा उलटफेर हुआ और ब्रह्म महिंद्रा डिप्टी सीएम की रेस से बाहर हो गए। ब्रह्म महिंद्रा की जगह ओपी सोनी उप-मुख्यमंत्री पद की शपथ ली, जबकि इससे पहले ब्रह्म महिंद्रा का नाम चल रहा था।
सुनील जाखड़ ने जताई नाराजगी
वहीं पंजाब में चरणजीत सिंह चन्नी (Charanjit Singh Channi) के शपथग्रहण से पहले ही पंजाब कांग्रेस में मतभेद शुरू हो गया। इसे लेकर सुनील जाखड़ ने हरीश रावत के बयान पर नाराजगी जताई थी। उन्होंने कहा था कि हरीश रावत का बयान सीएम को कम आंकने वाला है। बता दें कि हरीश रावत ने कहा था कि नवजोत सिंह सिद्धू के नेतृत्व में अगले साल होने वाला विधान सभा चुनाव लड़ेंगे।
चरणजीत सिंह चन्नी पहले दलित मुख्यमंत्री
चरणजीत सिंह चन्नी पंजाब के पहले दलित मुख्यमंत्री हैं और ट्विटर पर कांग्रेस नेताओं ने दलित मुख्यमंत्री बनाने के फैसले की जमकर तारीफ की। पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष नवजोत सिद्धू ने फैसले को ऐतिहासिक कहा, जबकि रणदीप सिंह सुरजेवाला ने उम्मीद की नई किरण बताया। रणदीप सिंह सुरजेवाला ने ट्वीट कर कहा कि, ‘कांग्रेस ने रचा नया इतिहास। एक दलित साथी, सरदार चरनजीत चन्नी को पंजाब का मुख्यमंत्री बना हर गरीब साथी और कार्यकर्ता को गौरवान्वित और ताकतवर किया। तारीख गवाह है कि आज का यह निर्णय पंजाब और देश के हर वंचित और शोषित साथी के लिए उम्मीद की नई किरण बनेगा और नए दरवाजे खोलेगा।’
वहीं पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू ने ट्वीट कर कहा कि, ‘ऐतिहासिक!! पंजाब के पहले दलित सीएम-पदनाम. इतिहास में स्वर्ण अक्षरों से लिखा जाएगा। संविधान और कांग्रेस की भावना को नमन!! बधाई हो चरणजीत चन्नी भाई।’
समझे चुनावी गणित
गौरतलब है कि पंजाब में अगले विधानसभा चुनाव होने है और कांग्रेस इस चुनाव में जमकर दलित कार्ड खेलती नजर आयेगी। जिससे वो इस चुनाव में जीत हासिल कर सकें। आपको बता दें कि पंजाब में 32 फीसदी दलित वोटर है। वहीं जट्टसिख कम्युनिटी सिर्फ 19% है, लेकिन अब तक उन्हीं का पंजाब में राज रहा है। यही वजह है कि राजनीतिक दलों ने इसे मुद्दा बनाना शुरू कर दिया। दलितों को बड़े पदों पर बैठाने की बात कहकर जातीय ध्रुवीकरण करने की कोशिश की गई। कांग्रेस ने दलित को CM बनाकर दलितों के लिए बड़ा संदेश दे दिया है।
पंजाब के भजौली में हुआ जन्म
आपको बता दें कि चरणजीत सिंह चन्नी का जन्म 1963 में कुराली के पास पंजाब के भजौली गाँव में हुआ था। उनका परिवार मलेशिया में बस गया था जहाँ उनके पिता काम करते थे, लेकिन वे 1955 में भारत लौट आए और पंजाब के एसएएस नगर जिले के खरार शहर में बस गए।