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Self-Reliant India : देश को आत्मनिर्भर दिशा में इतिहास रचने को तैयार स्वदेशी विमान

Self-Reliant India : रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह 17 अक्टूबर को नासिक में हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड की सुविधा से स्वदेशी लड़ाकू विमान तेजस एमकेवनए की पहली उड़ान का शुभारंभ करेंगे

By: RNI Hindi Desk 
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Self-Reliant India : देश को आत्मनिर्भर दिशा में इतिहास रचने को तैयार स्वदेशी विमान

Self-Reliant India : रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह 17 अक्टूबर को नासिक में हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड की सुविधा से स्वदेशी लड़ाकू विमान तेजस एमकेवनए की पहली उड़ान का शुभारंभ करेंगे , इस खास मौके पर वह तेजस एमकेवनए की तीसरी उत्पादन लाइन और एचटीटी 40 की दूसरी उत्पादन लाइन का भी उद्घाटन करेंगे |

तेजस Mk1A स्वदेशी तकनीक से बना एक अत्याधुनिक लड़ाकू विमान है, जो भारतीय वायुसेना की ताकत को और बढ़ाएगा, यह विमान इलेक्ट्रॉनिकली स्कैन्ड ऐरे (AESA) रडार, स्वयं रक्षा कवच, और कंट्रोल सरफेस एक्ट्यूएटर्स जैसी उन्नत प्रणालियों से लैस है, यह विमान न केवल तेज और भरोसेमंद है, बल्कि भारतीय वायुसेना की ज़रूरतों को पूरा करने के लिए खास तौर पर डिज़ाइन किया गया है… इसकी पहली उड़ान का शुभारंभ भारत के रक्षा उत्पादन में एक ऐतिहासिक लम्हा होगा |

हाल ही में रक्षा मंत्रालय ने HAL के साथ 62,370 करोड़ रुपये का एक बड़ा करार किया है, जिसके तहत भारतीय वायुसेना को 97 तेजस Mk1A विमान मिलेंगे, इन 97 विमानों में 68 सिंगल-सीटर लड़ाकू विमान और 29 ट्विन-सीटर ट्रेनर विमान शामिल हैं.. इस करार में संबंधित उपकरण और सपोर्ट सिस्टम भी शामिल हैं यह करार ‘मेक इन इंडिया’ और ‘आत्मनिर्भर भारत’ अभियान का एक मज़बूत कदम है इस उड़ान के साथ भारत उन चुनिंदा देशों में शामिल हो जाएगा, जो स्वदेशी तकनीक से अत्याधुनिक लड़ाकू विमान विकसित करने में सक्षम हैं तेजस Mk1A आने वाले सालों में भारतीय वायुसेना की रीढ़ बनने जा रहा है यह विमान न सिर्फ भारत की ताकत का प्रतीक होगा, बल्कि घरेलू रक्षा उद्योग के नए युग की शुरुआत भी करेगा |

तेजस Mk1A के शामिल होने से भारतीय वायुसेना की स्क्वाड्रन ताकत में काफी इजाफा होगा। यह विमान पुराने पड़ चुके MiG-21 जैसे विमानों की जगह लेगा और वायुसेना की परिचालन क्षमता को मजबूती देगा, तेजस Mk1A की उन्नत तकनीक और स्वदेशी डिजाइन इसे भारतीय वायुसेना के लिए एक बढ़िया विकल्प बनाती है, इस 17 अक्टूबर को नासिक में तेजस Mk1A की पहली उड़ान भारत के रक्षा क्षेत्र के लिए एक गर्व का पल होगा |

आजादी के बाद से भारत ने तीन स्वदेशी विमान और कई हेलिकॉप्टर्स खुद विकसित किए लेकिन तकनीक खामियों और ज्यादा लागत की वजह से बहुत सफल नहीं हो सके. इस मायने में अब तक तेजस ही एक फाइटर विमान है, जो अपेक्षाओं पर खरा उतरता दीख रहा है, इससे पहले भारत ने जोरशोर से दो विमान विकसित किये थे , लेकिन जल्द ही उनका उत्पादन बंद कर दिया गया…अब तक उनका इस्तेमाल भी नहीं होता। आपको gfx plate के जरिए उन तीन स्वदेशी विमान पर एक बार नजर डालते और उनकी विशेषता भी बताते है |

भारत का पहला स्वदेशी विमान

– 1968 में भारत ने पहला स्वदेशी एग्रीकल्चर विमान डिजाइन किया
– डिजाइन और उत्पादन में HAL की भूमिका रही
– पहला स्वदेशी विमान का नाम बसंत रखा गया
– विमान हल्की फुल्की निगरानी के लिए किया गया
– विमान 9 मीटर लंबा और 8 फीट ऊंचा था
– 3 मार्च 1972 में बसंत पहली बार उड़ा

भारत का दूसरा स्वदेशी विमान

– 4 सीटों वाले विमान का नाम कृषक रखा गया
– कृषक विमान के 2 प्रोटोटाइप बनाए गए
– 70 के दशक के बीच में विमान को फेजआउट कर दिया

भारत का तीसरा स्वदेशी विमान

– एचएलएल मारुत बना भारत का पहला जेट एयरक्राफ्ट
– विमान का डिजाइन जर्मन प्लेन डिजाइनर कुर्त टैंक ने किया
– इसके प्रोटोटाइप ने पहली बार 17 जुलाई 1961 को उड़ान भरी

भारत का स्वदेशी लड़ाकू विमान तेजस एमकेवनए अपनी पहली उड़ान भरने को तैयार है बता दें तेजस एमकेवनए की उड़ान न केवल भारत की एविएशन इंजीनियरिंग और तकनीकी क्षमता का प्रमाण है, बल्कि यह भारत की रक्षा आत्मनिर्भरता की दिशा में एक ऐतिहासिक मील का पत्थर भी साबित होगी |

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