रिपोर्ट: सत्यम दुबे
देहरादून: उत्तराखंड की धामी सरकार ने सूबे की आशा कार्यकत्रियों और आशा फैसिलिटेटर को बड़ी सौगात दी है। सरकार ने पांच महीने तक आशा कार्यकत्रियों और आशा फैसिलिटेटर को प्रोत्साहन राशि के रुप में दो-दो हजार रुपये देने का फैसला किया है। धामी सरकार ने इसके लिए जीओ भी जारी कर दिया है। सीएम धामी ने आशा कार्यकत्रियों और आशा फैसिलिटेटर को लेकर यह घोषणा की थी। जिसके बाद आदेश जारी किया गया।
आपको बता दें कि 30 दिनों से आशा बहनें हड़ताल पर बैठी थी। मंगलवार को सीएम पुष्कर सिंह धामी ने आशा बहनों को उनकी मांगो को लेकर आश्वासन दिया था। अब आशा बहनो ने अपनी हड़ताल खत्म कर दी है। खटीमा में विरोध-प्रदर्शन करने के बाद उत्तराखंड आशा हेल्थ वर्कर्स यूनियन की प्रदेश अध्यक्ष कमला कुंजवाल के नेतृत्व में प्रतिनिधिमंडल अपनी मांगों को लेकर मुख्यमंत्री पुष्कर धामी से मिला।
सीएम धामी ने मुलाकात के दौरान 20 दिनों में आशा बहनों की मांगो को पूरा करने का घोषणा करते हुए कहा था कि उनकी मांगें पूरी होने का शासनादेश जारी हो जाएगा। सीएम के आश्वासन बाद प्रदेश अध्यक्ष कमला कुंजवाल ने इसे एकजुटता की जीत बताया। कहा कि 20 दिन में शासनादेश जारी नहीं होने पर आशाएं पुन: आंदोलन के लिए बाध्य होंगी।
आपको बता दें कि उत्तराखंड आशा हेल्थ वर्कर्स यूनियन के आह्वान पर मंगलवार को आशा कार्यकर्ता मुख्यमंत्री कैंप कार्यालय कूच करने के लिए सितारगंज रोड स्थित नागरिक अस्पताल में एकत्र हुईं थी। यहां नैनीताल, अल्मोड़ा, हल्द्वानी, रुद्रपुर, किच्छा, सितारगंज, नानकमत्ता आदि क्षेत्रों से आशाएं पहुंचीं थीं।
जिसके बाद आशा कार्यकत्रियों ने मुख्यमंत्री कार्यालय कूच करने के लिए जुलूस निकाला। जिसके बाद पुलिस प्रशासन ने उन्हें तहसील गेट पर रोक लिया। इस पर आशा बहनों एवं पुलिस प्रशासन में तीखी नोक-झोंक हुई। पुलिस के रोकने के बाद आशा बहनें तहसील गेट पर ही धरने पर बैठ गईं। सीएम धामी ने उनकी मांगो को मान लिया है। साथ सरकार की तरफ से जीओ भी जारी कर दिया है।