रिपोर्ट: सत्यम दुबे
नई दिल्ली: तीनों नये कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों ने मंगलवार को गणतंत्र दिवस के दिन आंदोलनकारी किसानो ने उग्र रुप अपना लिया है। किसानो के इस आंदोलन में निहंग फौज ने भी भाग लिया, जिससे आंदोलन और रुप और उग्र हो गया। इस बात का अंदाजा किसी को भी नहीं था कि किसान आंदोलन करते-करते हिंसा का रुप अख्तियार कर लेंगे।
हिंसक आंदोलन में पुलिस ने लाठी और ऑसू गैस के गोले से किसनों के साथ निपटने की कोशिश की, RNI न्यूज गणतंत्र दिवस के दिन हुए हिसंक प्रदर्शन को लेकर निंदा करता है। ऐसे आंदोलन को देश कतई बर्दाश्त नहीं करेंगा। आज हम आपको मंगलवार को हुए हिंसक प्रदर्शन की तस्वीरें दिखा रहें हैं। जिससे आपको असलियत खुद ब खुद पता चल गाय़ेगा।
लाल किले पर सारे सिक्युरिटी अरेंजमेंट्स को धता बताते हुए एक किसान ने खंभे पर धार्मिक झंडा फहरा दिया।
घेर-घेरकर पुलिस को पीटते दिखे आंदोलनकर्मी।
इसके बावजूद किसानों ने कई पुलिसकर्मियों को गंभीर रूप से घायल कर दिया।
90 मिनट तक लाल किले के अंदर चले इस हिंसा के बाद पुलिस ने स्थिति को संभाला। आखिरकार उन्हें बाहर कर दिया गया।
जब हिंसा हद से ज्यादा बढ़ गई, तब पुलिस को लाठी चार्ज करना पड़ा।
लाल किले में पुलिस पर वार करते दिखे आंदोलनकर्मियों की तस्वीर।
लाल किले पर उपद्रवी किसानों ने जमकर हंगामा मचाया। किले के परिसर में पुलिस के साथ झड़प की तस्वीरें भी सामने आई।
तिरंगे के ठीक नीचे फहराए गए इस धार्मिक झंडे की तस्वीर खूब वायरल हो रही है।
कई जगहों पर पुलिस को उपद्रवीयों ने घेरकर पीटा। कई पुलिस कर्मी अस्पताल में भर्ती हैं। तस्वीर में- एक पुलिसकर्मी को किसानों के चंगुल से बचाने की कोशिश करते दिख लोग।