केंद्र सरकार के नए कृषि कानूनों के खिलाफ किसान आंदोलन का आज 75वा दिन है। देश के किसान कृषि आंदोलन को लेकर 75 दिन से दिल्ली और दिल्ली के आस-पास के बॉडर पर आंदोलन कर रहे है है। देश के किसान तीन नए कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग पर अड़े हुए हैं। वही सरकार ने ये साफ़ कर दिया है कि तीनों कृषि कानून को वापस नहीं लिया जाएगा बल्कि तीनों कृषि कानून में संसोधन किया जायेगा। वही दूसरी तरफ देश के किसानों का कहना है कि जब तक सरकार तीनों कृषि कानून को वापस नहीं लेगी तब तक उनका प्रदर्शन चालू रहेगा।
इस बीच पीएम मोदी ने आज राज्यसभा को संबोधित किया। इस दौरान उन्होंने किसानों से आंदोलन काम करने की अपील की है। जिसमें पीएम ने कहा कि एमएसपी था, है और रहेगा। इसके साथ ही पीएम मोदी ने कहा कि सरकार किसानों के साथ बातचीत के लिए तैयार है। पीएम मोदी की इस अपील पर भारतीय किसान यूनियन नेता राकेश टिकैत ने कहा कि हम चर्चा के लिए तैयार हैं, लेकिन एमएसपी पर कानून बनना चाहिए।
एमएसपी दो राज्यों के अलावा न था न है न रहेगा
देश को गुमराह न करे हुक्मरान#FarmersProtestDelhi2020 @ANI @PTI_News @ndtvindia @PMOIndia @nstomar pic.twitter.com/XpeD2vGkzV— Rakesh Tikait (@RakeshTikaitBKU) February 8, 2021
एमएसपी को लेकर भारतीय किसान यूनियन नेता राकेश टिकैत ने ट्वीट करके जवाब दिया है। एमएसपी दो राज्यों के अलावा न था न है न रहेगा। देश को गुमराह न करे हुक्मरान।
राकेश टिकैत ने कहा है आगे कहा कि अगर पीएम मोदी बातचीत करना चाहते हैं तो हमारा मोर्चा और कमेटी बातचीत करने के लिए तैयार हैं। उन्होंने आगे कहा कि हमारे पंच भी वही हैं और हमारा मंच भी वही है। एमएसपी पर क़ानून बने यह किसानों के लिए फायदेमंद होगा।’’
किसान नेता ने कहा, ‘’देश में भूख पर व्यापार नहीं होगा। अनाज की कीमत भूख पर तय नहीं होगी। भूख पर व्यापार करने वालों को देश से बाहर निकाला जाएगा। देश में आज पानी से सस्ता दूध बिक रहा है। किसानों की दूध पर लागत ज्यादा आ रही है, लेकिन उसको दाम कम मिल रहा है। दूध का रेट भी फिक्स होना चाहिए।’