दिल्लीः कांग्रेस की शुक्रवार को दिल्ली में बैठक होने जा रही है। इस बैठक में सीएम अशोक गहलोत और सचिन पायलट के बीच चल रही तनातनी पर सुलह करने पर विचार किया जाएगा। सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक दिल्ली बैठक से पहले पायलट कैंप ने रणनीति बनाई है। जिसमें जनसंघर्ष पदयात्रा की मांगों पर एक्शन लिए जाने और PCC चीफ या प्रचार अभियान समिति के मुखिया का पद मिलने की बात शामिल है। यह भी बताया जा रहा है कि सचिन पायलट कैंप ने सीएम पद की डिमांड अब छोड़ दी है! इसके साथ ही सीपी जोशी या हेमाराम चौधरी मुख्यमंत्री बने तो कोई ऐतराज नहीं है। सूत्रों का कहना है कि कम से कम 75 सीटों पर टिकट में उन्हें प्राथमिकता मिले। साथ ही मंत्रिपरिषद फेरबदल विस्तार में एक डिप्टी सीएम भी मिले। वहीं PCC का एक वर्किंग प्रेसिडेंट भी इसी कैंप से हो। बताया जा रहा है कि पायलट ग्रुप ने इन मांगों को केसी वेणुगोपाल तक पहुंचा दिया है।
आपको बता दें कि राजस्थान में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। जबकि सीएम अशोक गहलोत और पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट के बीच चल रही खींचतान के चलते इस चुनाव में पार्टी को जोर का झटका लग सकता है इसलिए इस निपटाने के लिए कांग्रेस पार्टी ने अब कमर कस ली है। 26 मई को दोपहर बाद अहम बैठक एआईसीसी मुख्यालय पर बुलाई गई है। बैठक में सीएम अशोक गहलोत, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा, विधानसभा अध्यक्ष डॉ सीपी जोशी, प्रदेश कांग्रेस प्रभारी सुखजिंदर सिंह रंधावा और तीनों सह प्रभारी भी मौजूद रहेंगे। नाराज सचिन पायलट को भी बैठक का निमंत्रण दिया गया है। बताया जा रहा है कि कुछ मंत्रियों की परफॉर्मेंस भी कांग्रेस हाईकमान ने मांगी है। कांग्रेस नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री भंवर जितेंद्र सिंह एआईसीसी से इस पूरे मामले पर कॉर्डिनेट कर रहे हैं।