दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने मंगलवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में दिल्ली में कोविड हॉट-स्पॉट में बदल रहे बाजारों को कुछ वक्त तक बंद करने का प्रस्ताव दिया है, जिसे लेकर कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। कैट ने मांग की है कि इसपर फैसला लेने से पहले दिल्ली के व्यापारियों से सलाह-मशविरा लिया जाए।
कैट ने केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह और दिल्ली के उपराज्यपाल अनिल बैजल से आग्रह किया है कि ‘लाखों व्यापारियों और उनके कर्मचारियों और अन्य लोगों की आजीविका से सम्बंधित इस प्रस्ताव पर कोई निर्णय लेने से पहले दिल्ली के व्यापारियों से सलाह मशविरा जरूर किया जाए।’
कैट के राष्ट्रीय महामंत्री प्रवीन खंडेलवाल ने कहा कि ‘दिल्ली के मुख्यमंत्री का इस तरह का प्रस्ताव दिल्ली में कोरोना मुद्दे से निपटने में दिल्ली सरकार की पूरी तरह से विफलता को दिखाता है जबकि पिछले दिनों में केजरीवाल उनके मंत्रियों और दिल्ली सरकार ने कोविड स्थिति को संभालने के लंबे दावे किए जो केवल हवाई साबित हुए हैं।’
उन्होंने कहा कि ‘हालांकि कोरोना का तेजी से बढ़ना निश्चित रूप से दिल्ली के लोगों के बीच एक बड़ी चिंता का विषय है, लेकिन इस मुद्दे को रणनीतिक तरीके से नियंत्रित करने की आवश्यकता है, न कि टुकड़े-टुकड़े तरीके से. बाजारों को बंद करने से उत्पन्न सभी हालातों पर पूरा विचार किया जाना बहुत जरूरी है।’
खंडेलवाल ने व्यापारियों का पक्ष रखते हुए कहा कि ‘दिल्ली के व्यापारी और व्यापार संगठन कोरोना की स्थिति से निपटने के लिए सरकार के साथ पूरी तरह से एकजुट हैं। व्यापारियों से सलाह के बिना सरकार की ओर से उठाया गया कोई भी कदम विपरीत परिणाम भी ला सकता है।
न केवल नियमित वस्तुओं, बल्कि आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति भी इस तरह के लॉकडाउन के साथ कठिन हो जाएगी। इसलिए सोची समझी रणनीति तैयार करने की तत्काल आवश्यकता है जो न केवल कोरोना मामलों को नीचे ला सकती है, बल्कि माल और सेवाओं के मुक्त प्रवाह को भी सुनिश्चित कर सकती है।
बता दें कि केजरीवाल ने मंगलवार को बताया कि उनकी सरकार ने केंद्र को प्रस्ताव भेजा गया है कि अगर जरूरत पड़े और सभी कोशिशों के बावजूद किसी बाजार में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन नहीं हो रहा हो और वहां हॉट-स्पॉट बनने की आशंका हो तो उस बाजार को कुछ दिन के लिए बंद करने की इजाजत दिल्ली सरकार को दी जाए।