बजट 2025 की तैयारियां जोरों पर हैं, और भारतीय रेलवे को लेकर बड़े ऐलानों की उम्मीद की जा रही है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण 1 फरवरी 2025 को लोकसभा में बजट पेश करेंगी। इसमें रेलवे के लिए पूंजीगत व्यय (कैपेक्स) को 15-20% तक बढ़ाने की योजना है। मौजूदा वित्त वर्ष में रेलवे को ₹2.65 लाख करोड़ का आवंटन मिला था, जो अगले वित्त वर्ष में ₹3 लाख करोड़ से अधिक हो सकता है।
आधुनिक रेलवे स्टेशन और नई वंदे भारत ट्रेनें होंगी मुख्य आकर्षण
सरकार का फोकस आधुनिक रेलवे स्टेशन विकसित करने, नई वंदे भारत स्लीपर ट्रेनों का संचालन शुरू करने और यात्रियों को बेहतर सुविधाएं प्रदान करने पर रहेगा। साथ ही, ट्रैक नेटवर्क पर बढ़ते दबाव को कम करने और पुराने ट्रैकों को अपग्रेड करने के लिए विशेष आवंटन किया जा सकता है।
नई परियोजनाओं को मिलेगा बढ़ावा
रेलवे के बजट में नए ट्रैक बिछाने, गेज परिवर्तन, और डबलिंग जैसे कार्यों के लिए बड़ा आवंटन किया जाएगा। मुंबई-अहमदाबाद हाई स्पीड रेल कॉरिडोर (बुलेट ट्रेन परियोजना) के लिए बजट में वृद्धि की संभावना है। इसके साथ ही रोलिंग स्टॉक, लोकोमोटिव, वैगन और कोचों की खरीद पर भी जोर दिया जाएगा।
पीपीपी मॉडल के तहत निवेश को बढ़ावा
सरकार सार्वजनिक-निजी भागीदारी (PPP) के तहत रेलवे में निवेश बढ़ाने की योजना पर काम कर रही है। चालू वित्त वर्ष में रेलवे ने इस मॉडल के तहत 90% पूंजीगत व्यय पूरा कर लिया है। आगामी बजट में पीपीपी मॉडल के तहत और अधिक निवेश आकर्षित करने की योजना बनाई जा सकती है।
यात्री सुविधाओं और सुरक्षा पर विशेष ध्यान
इस वर्ष सुरक्षा कार्यों के लिए 34,412 करोड़ रुपये का आवंटन किया गया था। वित्तीय वर्ष 2025-26 में इस आवंटन में वृद्धि की संभावना है। लंबी दूरी की यात्रा को आरामदायक बनाने के लिए वंदे भारत स्लीपर ट्रेनों का संचालन शुरू होगा। रेलवे विद्युतीकरण, यातायात सुविधाओं में सुधार, और महानगरीय परिवहन परियोजनाओं पर भी फोकस रहेगा।