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15 इमारतों को धमाके से उड़या, कैमरे में कैद हुई हैरान करने वाला video!

हाल ही में चीन से एक चौंकाने वाला विडयो सामने आ रहा है। कैमरे में कैद हुऐ इस विडयो मे चीन के कनमिंग शहर कि 15 गगनचुंबी इमारतों को एक साथ ध्वस्त करते दिखाया गया है। यह रही कि यह पूरी प्रक्रिया महज़ 45 सेकेंड के अंदर हुई। इन चंद सेकेंडों में 15 कंक्रीट की इमारतों में से कुछ भी बचा।बची तो सिर्फ धूल ।

By: Amit ranjan 
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रिपोर्ट: अनुष्का सिंह

नई दिल्ली: हाल ही में चीन से एक चौंकाने वाला विडयो सामने आ रहा है। जिसे देखने के बाद लोग काफी नाखुश नज़र आ रहे हैं, और इसे पैसे कि बरबादी बता रहे हैं। दरअसल कैमरे में कैद हुऐ इस विडयो मे चीन के कनमिंग शहर कि 15 गगनचुंबी इमारतों को एक साथ ध्वस्त करते दिखाया गया है। आपको बता दे कि विडियों कि इन 15 इमारतों का काम पिछले 8 साल से रुका हुआ था, जिसको पूरा करे जाने कि कोई उम्मीद नज़र नही आ रही थी। जिसके चलते इन 15 बिलडिंगो को धमाके से उड़ा दिया गया।

चीन के सिन्हुआ समाचार के अनुसार, इन बिलडिंगो को उड़ने के लिये लगभग 4.6 टन विस्फोटक का इस्तमाल किया गया था। जिन्हें 85,000 अलग-अलग ब्लास्टिंग पॉइंट्स पर लगाया गया था, जो इमारत के चारों ओर थे। इस ब्लासट की सबसे चौंकाने वाली बात यह रही कि यह पूरी प्रक्रिया महज़ 45 सेकेंड के अंदर हुई। इन चंद सेकेंडों में 15 कंक्रीट की इमारतों में से कुछ भी बचा। सब धूआँ धूआँ हो गया, बची तो सिर्फ धूल और मिट्टी।

 

 

इस वायरल विडयो को देखने के बाद लोग काफी असमंजस मे थे। और कई लोगो द्वारा इस धमाके मे सावधानी और सुरक्षा को लेकर सवाल उठाऐ गऐ। जिसके चलते कुनमिंग डेली द्वारा एक बयान जारी किया गया उसमे बताया गया कि “यह सुनिश्चित करने के लिए कि विस्फोट कार्य पूर्ण-प्रूफ है, शहर के आपातकालीन बचाव विभागों ने 2,000 से अधिक सहायता कर्मियों को भेजा। उन्होंने इस प्रक्रिया को सफल बनाने के लिए आठ आपातकालीन बचाव दल, बाढ़ नियंत्रण आपातकालीन दल और शहरी प्रबंधन रसद दल भी स्थापित किए।

बता दे कि विध्वंस के कुछ दिन पहले, धमाकेवको अंजाम देने के लिए एक पूरी योजना तैयार की गई थी। जिसके चलते आसपास की दुकानों को बंद करने का आदेश दिया गया था साथ ही पड़ोस की इमारतों में रहने वाले लोगों को भी सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया गया था। रिपोर्टों से यह भी पता चलता है कि अधिकारियों ने ऐसा कदम उठाने का फैसला इन इमारतों के बहुत लंबे समय से यूँ ही पड़े रहने और इन बिलडिंगो के बेसमेंट के बारिश के पानी में डूबे जाने के चलते लिया गया था। क्योंकी इसके चलते इमारत भी कमजोर हो रही थी।

बताया जा रहा है कि इन बिलडिंगो को बनाने का काम वर्ष 2011 में शुरू हुआ था। लेकिन समय के साथ इसमें कई बाधाओं का सामना करना पड़ा। और यह काम ऐसे ही अटका रहा, जिसके चलते सरकार ने इसे ध्वस्त करने का फैसला ले लिया।

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