रिपोर्ट : मोहम्मद आबिद
अहमदाबाद : बॉम्बे हाई कोर्ट की नागपुर बेंच में तैनात जस्टिस पुष्पा बी गनेडीवाला ने एक पॉस्को एक्ट में अजीबों गरीब फैसला देकर सुर्खियों में आ गई है जहां उन्होंने नाबालिग से यौन शोषण मामले में महिला जज ने फैसला सुनाया था और फैसले में कहा था कीनाबालिग लड़की के ब्रेस्ट को बगैर कपड़े उतारे छूना पॉक्सोर एक्टी के तहत यौन हमला नहीं माना जाएगा।
जस्टिस पुष्पा बी गनेडीवाला के इस फैसले के बाद से लगातार सामाजिक संगठन फैसले का विरोध कर रहे हैं और अब इस फैसले के विरोध में गुजरात की एक महिला ने जज पुष्पा बी गनेडीवाला को 150 कंडोम भेजे हैं। कंडोम भेजने वाली महिला का नाम देवश्री त्रिवेदी बताया जा रहा है और इस महिला ने 12 जगह जगह पर कंडोम भेजे गए हैं जिसमें नाबालिग को लेकर फैसला देने वाली महिला जज पुष्पा गनेडीवाला का चैंबर भी शामिल है।
कंडोम भेजने वाली गुजरात की महिला देवश्री ने बॉम्बेर हाई कोर्ट की नागपुर बेंच की रजिस्ट्री में भी कंडोम भेजे हैं। वहीं एक रिपोर्ट के अनुसार देवश्री का कहना है कि वह इस तरह की नाइंसाफी बर्दाश्त। नहीं करेंगी। जस्टिस गनेडीवाला की वजह से एक नाबालिग लड़की को न्याहय नहीं मिला। देवश्री ने जस्टिस गनेडीवाला को सस्पें ड किए जाने की भी मांग की।
कंडोम भेजने वाली देवश्री त्रिवेदी ने बताया कि उन्होंडने 9 फरवरी को कंडोम के पैकेट भेजे थे। उन्होंभने कहा कि एक महिला होने के नाते मुझे नहीं लगता कि मैंने कुछ गलत किया है। और महिलाओं को अपने अधिकार के लिए खड़ा होना चाहिए और अधिकार लेना चाहिए। वहीं महिला का कहना है की महिला जज की वजह से यौन अपराध करने वाले पुरुषों को सजा नहीं मिल पाएगी।