नई दिल्ली : “ये बहुत बड़ी आपदा है, अगर इसमें हम हरियाणा, पंजाब, तमिलनाडु, गुजरात, पश्चिम बंगाल में बंट गए तो भारत नहीं बचेगा, इस वक्त हमें एक-दूसरे की मदद करनी है।” ये कहना है दिल्ली सीएम केजरीवाल का, जो केंद्र द्वारा ऑक्सीजन कोटा बढ़ाने के बाद भी कुछ राज्य सरकारों से खफा है, क्योंकि उन्होंने दिल्ली के कोटे की ऑक्सीजन भेजनी रोक दी है। हालांकि उन्होने इस दौरान केंद्र सरकार और दिल्ली हाई कोर्ट का शुक्रिया अदा किया है।
सीएम केजरीवाल ने कहा कि, “केंद्र सरकार ऑक्सीजन का कोटा तय करती है। दिल्ली में ऑक्सीजन नहीं बनती है, सारी ऑक्सीजन बाहर के राज्यों से आती है। ऑक्सीजन की कंपनियां जिन राज्यों में हैं, उनमें से कुछ राज्य सरकारों ने उन कंपनियों से दिल्ली के कोटे की ऑक्सीजन भेजनी रोक दी। राज्यों ने कहा कि दिल्ली का कोटा भी हम इस्तेमाल करेंगे, दिल्ली के ट्रक नहीं जाने देंगे। मैं केंद्र सरकार और दिल्ली हाईकोर्ट का शुक्रिया करना चाहता हूं, पिछले दो-तीन दिन में उन्होंने हमारी बहुत मदद की है जिसकी वजह से अब ऑक्सीजन दिल्ली पहुंचने लगी है।”
केजरीवाल ने आगे कहा कि, “हमारा ऑक्सीजन का जो कोटा बढ़ा है, उसमें काफी ऑक्सीजन ओडिशा से आनी है। बढ़े हुए कोटे की ऑक्सीजन को दिल्ली पहुंचने में कुछ दिन लग जाएंगे, हम कोशिश कर रहे हैं कि हवाईजहाज से ऑक्सीजन लाई जा सके। ये बहुत बड़ी आपदा है, अगर इसमें हम हरियाणा, पंजाब, तमिलनाडु, गुजरात, पश्चिम बंगाल में बंट गए तो भारत नहीं बचेगा, इस वक्त हमें एक-दूसरे की मदद करनी है। अगर दिल्ली में जरूरत से ज्यादा ऑक्सीजन होगी तो हम दूसरे राज्यों को देंगे।”
दिल्ली सरकार के अनुमान के अनुसार, यूटी को 700 टन प्रति दिन ऑक्सीजन की आवश्यकता थी। केंद्र ने इसे पहले 378 टन तय किया था, लेकिन अब 480 टन तक बढ़ा दिया है, जिससे दिल्ली को काफी राहत मिलेगा। अगर हम कोरोना केस की बात करें तो, दिल्ली में बुधवार को कोरोना वायरस संक्रमण के 24,638 नए मामले सामने आने के बाद संक्रमितों की कुल संख्या बढ़कर 9 लाख 30 हजार 179 हो गई। 249 मरीजों की मौत होने के बाद मृतकों की तादाद 12,887 हो गई है।