भोपाल में हाल ही में 1800 करोड़ रुपये की ड्रग्स फैक्ट्री पकड़े जाने के बाद सियासत गरमा गई है। कांग्रेस ने इस मामले पर प्रदेश सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कि बिना अधिकारियों के संरक्षण के इतना बड़ा नशे का कारोबार संभव नहीं है। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने सरकार, पुलिस, और इंटेलिजेंस विभाग को आड़े हाथों लिया और आरोप लगाया कि सरकार की नाक के नीचे यह सब हो रहा है।
कांग्रेस का आरोप: ‘अधिकारियों के संरक्षण में फल-फूल रहा नशे का कारोबार’
नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने कहा कि भोपाल पुलिस को गुजरात नारकोटिक्स विभाग की इस बड़ी कार्रवाई की भनक तक नहीं लगी, जबकि गृह विभाग मुख्यमंत्री मोहन यादव के पास है। उन्होंने कहा, “यह गंभीर स्थिति है कि अपराधियों के हौसले इतने बुलंद हो चुके हैं कि राजधानी में धड़ल्ले से ड्रग्स की फैक्ट्री चल रही है।”
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने आरोप लगाया कि नशीले पदार्थों का कारोबार प्रदेश में तेजी से फैल रहा है और सत्ता और अधिकारियों का संरक्षण इस कारोबार को और भी बढ़ावा दे रहा है।
भाजपा का पलटवार: “संयुक्त ऑपरेशन की सफलता से कांग्रेसियों को मरोड़”
भाजपा के प्रदेश मीडिया प्रभारी आशीष सिंह ने कांग्रेस के आरोपों पर तीखा पलटवार किया। उन्होंने कहा, “भोपाल में ड्रग्स फैक्ट्री के खिलाफ गुजरात ATS, NCB, और मप्र पुलिस के संयुक्त ऑपरेशन की सफलता से कांग्रेस बेचैन है। भाजपा सरकार किसी भी अवैध और अनैतिक कार्य को बर्दाश्त नहीं करेगी, और कांग्रेस प्रदेश को बदनाम करने की साजिश में लगी हुई है।”
मप्र पुलिस का बयान: “हम भी जांच कर रहे हैं”
मध्य प्रदेश पुलिस के आईजी लॉ एंड ऑर्डर अंशुमान सिंह ने बताया कि गुजरात पुलिस और NCB ने मप्र पुलिस से सहयोग मांगा था, जो उन्हें दिया गया। साथ ही, मप्र पुलिस ने अपनी जांच भी शुरू कर दी है। भोपाल और मंदसौर में भी कार्रवाइयां की जा रही हैं।
एमडी ड्रग्स का खतरनाक असर
इस पूरे मामले में एमडी ड्रग्स की खेप पकड़ी गई है, जो रेव पार्टियों में अक्सर उपयोग होती है। यह सिंथेटिक ड्रग्स व्यक्ति के शरीर में 6 घंटे तक उत्तेजना बनाए रखती है। इसका बार-बार उपयोग गंभीर बीमारियों और मौत का कारण बन सकता है।