मुंबई: महाराष्ट्र के अमरावती से सांसद नवनीत कौर राणा को सुप्रीम कोर्ट से बड़ी राहत मिली है, सुप्रीम कोर्ट ने बॉम्बे हाईकोर्ट के फैसले पर रोक लगा दी है, शिवसेना नेता आनंदराव अडसुल ने नवनीत राणा के जाति प्रमाण पत्र के फेक होने का आरोप लगाते हुए हाई कोर्ट में दायर की थी याचिका, जिसके बाद हाई कोर्ट ने Navneet Rana के जाति प्रमाण पत्र को रद्द कर दिया था। अब सुप्रीम कोर्ट में 4 हफ्तों बाद सुनवाई होगी। नवनीत राणा अनुसूचित जाति के लिए सुरक्षित सीट से सांसद चुनी गई थी।
बीते 18 जून को बॉम्बे हाईकोर्ट ने न सिर्फ नवनीत राणा का जाति प्रमाणपत्र रद्द कर दिया था बल्कि 2 लाख रूपये का जुर्माना भी ठोंका था, Navneet Rana पर फर्जी तरीके से जाति प्रमाणपत्र बनवाने का आरोप है, बॉम्बे हाईकोर्ट के इस फैसले के बाद Navneet Rana ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाने की बात कही थी, सांसद नवनीत राणा ने कहा था, मैं इस देश के नागरिक के रूप में अदालत के आदेश का सम्मान करती हूं। मैं सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाउंगी, मुझे विश्वास है कि मुझे न्याय मिलेगा।
महाराष्ट्र के विदर्भ क्षेत्र के दूसरे सबसे बड़े शहर अमरावती से पहली बार सांसद बनीं Navneet Rana शिवसेना नेता आनंदराव अडसुल को हराकर लोकसभा पहुँची थी. राणा 7 भाषाएँ बोल लेती है.
दरअसल नवनीत राणा के पास SC जाति का सर्टिफिकेट है, याचिकाकर्ता ने दावा किया कि Navneet Rana मूलतः पंजाब से हैं और लबाना जाति से आती हैं, जो कि महाराष्ट्र में SC की श्रेणी में नहीं आती हैं. ऐसे में उन्होंने फर्जी तरीके से अपना जाति का सर्टिफिकेट बनवाया, नवनीत राणा पर स्कूल के फर्जी डॉक्यूमेंट्स दिखाकर सर्टिफिकेट बनाने का आरोप लगा. जिसके बाद अदालत ने राणा का जाति प्रमाणपत्र खारिज कर दिया। कुछ महीनों पहले लोकसभा में शिवसेना के खिलाफ बोलने पर निर्दलीय सांसद नवनीत राणा को जान से मारने और तेजाब फेंकने की धमकी दी गई थी, नवनीत राणा को धमकी की चिट्ठी शिवसेना के लेटरहेड पर भेजी गई है, धमकी मिलने के बाद नवनीत राणा ने दिल्ली के नार्थ एवेन्यू थाने में एफआईआर दर्ज कराई थी, नवनीत राणा का कहना है कि आठ फरवरी को राष्ट्रपति के अभिभाषण पर मेरे भाषण के खिलाफ शिवसेना पार्टी के लेटरहेड पर अनजान पत्र के माध्यम से गालियों और अपशब्दों का प्रयोग करते हुए आठ दिन में माफी न मांगने पर मुझे और पति को जान से मारने की धमकी दी है।