केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने अहमदाबाद में आयोजित हिंदू आध्यात्मिक एवं सेवा मेले का शुभारंभ करते हुए महाकुंभ 2025 के भव्य आयोजन की प्रशंसा की। उन्होंने बताया कि वो 27 जनवरी को पवित्र गंगा में डुबकी लगाने प्रयागराज जाएंगे।
अमित शाह ने अपने संबोधन में कहा कि महाकुंभ का यह आयोजन 144 साल में एक बार आता है और पूरी दुनिया इसकी भव्यता देखकर अचंभित है। उन्होंने बताया कि कई देशों के लोग महाकुंभ में शामिल होने के लिए आमंत्रण पत्र मांग रहे हैं, जबकि कुंभ मेले में शामिल होने के लिए किसी निमंत्रण की आवश्यकता नहीं होती।
उन्होंने कहा, “यह अद्भुत है कि 40 करोड़ लोग बिना किसी निमंत्रण के एकत्रित होते हैं। विदेशों में लोग पूछते हैं कि इसे कौन प्रबंधित करता है। मैंने समझाया कि सरकार का योगदान राम सेतु बनाने में गिलहरी के योगदान जैसा है।”
‘पहले छुपाते थे, आज गर्व से कहते हैं हिंदू’
शाह ने अपने भाषण में कहा, “पहले लोग हिंदू होने की बात छुपाते थे, लेकिन आज हर कोई गर्व से कहता है, ‘मैं हिंदू हूं।'” उन्होंने युवाओं को महाकुंभ में भाग लेने और इसकी आध्यात्मिक अनुभूति का हिस्सा बनने की सलाह दी। शाह ने बताया कि वे खुद अपने जीवन में 9 कुंभ मेलों में शामिल हो चुके हैं और इस बार 27 जनवरी को प्रयागराज में गंगा स्नान करेंगे।
पिछले 10 सालों में बदला भारत का गौरव
अमित शाह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत में आए सकारात्मक बदलावों का उल्लेख किया। उन्होंने कहा, “बीते 10 वर्षों में भाजपा सरकार ने पीछे मुड़कर नहीं देखा। हमारी विचारधारा और आइडियोलॉजी पर आधारित कार्यों को सफलतापूर्वक पूरा किया गया है।”
शाह ने राम मंदिर निर्माण, धारा 370 के खात्मे और चोरी हुई भारतीय मूर्तियों की वापसी को सरकार की ऐतिहासिक उपलब्धियां बताया। उन्होंने कहा, “550 साल बाद रामलला टेंट से बाहर आए और उनका भव्य मंदिर बना। सात दशकों तक जिन्हें छूने की हिम्मत नहीं हुई, ऐसे कार्य हमारी सरकार ने किए।”
महाकुंभ में शामिल होने की अपील
अमित शाह ने महाकुंभ 2025 को भारत के सांस्कृतिक गौरव का प्रतीक बताते हुए कहा कि यह आयोजन पूरी दुनिया के लिए प्रेरणा है। उन्होंने लोगों से अपील की, “महाकुंभ में शामिल हों, युवाओं को लेकर जाएं, और इस अद्वितीय अनुभव का हिस्सा बनें।”
अमित शाह ने विश्वास जताया कि अगले पांच वर्षों में भी सरकार इसी दृढ़ता के साथ काम करती रहेगी। उन्होंने कहा, “हमारी सरकार ने भारत के धर्म स्थलों और आध्यात्मिक धरोहर को विश्व स्तर पर पहचान दिलाई है। आने वाले समय में यह प्रयास और मजबूत होगा।”
अहिल्याबाई होलकर का योगदान
कार्यक्रम में अमित शाह ने अहिल्याबाई होलकर के जीवन पर आधारित स्टॉल की प्रशंसा की। उन्होंने कहा, “अहिल्याबाई होलकर ने सोमनाथ और काशी विश्वनाथ मंदिरों सहित कई धार्मिक स्थलों के संरक्षण में अद्वितीय योगदान दिया। उनके जीवन से गुजरात के युवाओं को प्रेरणा मिलेगी।”
महाकुंभ 2025 न केवल भारत, बल्कि पूरी दुनिया के लिए आकर्षण का केंद्र बन गया है। गंगा स्नान के इस ऐतिहासिक आयोजन को देखने और इसका हिस्सा बनने के लिए देश-विदेश से लाखों श्रद्धालु प्रयागराज आ रहे हैं।