केंद्र सरकार की तरफ से पारित लिए गए 3 कृषि बिल को लेकर देश के हर कोने में विरोध प्रदर्शन चालू है। देश के किसान इस कानून को वापस लेने की मांग हो रही है। कृषि कानून के खिलाफ पिछले पांच दिनों से दिल्ली की सीमाओं पर हजारों की संख्या में किसान जमे हुए हैं।
इस बीच किसानों के विरोध प्रदर्शन पर केंद्र सरकार एक्टिव हो गई है। कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने किसानों को बातचीत के लिए बुलाया है। मिली जानकारी के अनुसार आज दोपहर तीन बजे विज्ञान भवन में सरकार और किसानों के बीच बातचीत होगी।
कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि बातचीत से रास्ता निकाल सकते हैं। बता दें कि किसानों को दिल्ली में बुराड़ी में मौजूद निरंकारी ग्राउंड में प्रदर्शन करने की इजाजत दी गई थी, लेकिन वे पिछले पांच दिनों से सिंघु और टिकरी बॉर्डर पर ही डेरा डाले हुए हैं।
इसको लेकर कल ग्रह मंत्री अमित शाह ने कहा था की अगर किसान निर्धारित जगह पर प्रदर्शन करतये है तो वो किसानो से बात करेंगे। इससे पहले बीती शाम किसानों ने कहा था कि वे “निर्णायक” लड़ाई के लिए दिल्ली आए हैं और जब तक उनकी मांगें पूरी नहीं हो जातीं, तब तक उनका प्रदर्शन जारी रहेगा।
वहीं प्रदर्शनकारी किसानों के एक प्रतिनिधि ने सिंघू बॉर्डर पर मीडिया से बातचीत में कहा कि हम चाहते हैं कि प्रधानमंत्री मोदी हमारे ‘‘मन की बात” सुनें। हम अपनी मांगों से समझौता नहीं कर सकते हैं। किसानों के प्रतिनिधि ने दावा किया कि यदि सत्तारूढ़ पार्टी उनकी चिंता पर विचार नहीं करती तो उसे भारी कीमत चुकानी होगी।
किसान आंदोलन के मद्देनज़र दिल्ली ट्रैफिक पुलिस ने ट्रैफिक अलर्ट जारी किया है। अलर्ट में कहा गया है, “सिंघु बॉर्डर दोनों ओर से अभी भी बंद है। कृप्या कोई वैकल्पिक मार्ग का इस्तेमाल करें।
जीटीके रोड और मुबरका चौक से ट्रैफिक डाइवर्ट किया जा रहा है। बहुत ज्यादा जाम है। कृपया सिग्नेचर ब्रिज से रोहिणी और इसके विपरीत, जीटीके रोड, एनएच 44 और सिंघू बॉर्डर तक बाहरी रिंग रोड से बचें।”
आप को बता दे कि वहीं, दिल्ली पुलिस आयुक्त एसएन श्रीवास्तव ने कहा है कि प्रदर्शन कर रहे किसानों को प्रस्ताव दिया गया था कि सड़क पर रहने की बजाय बुराड़ी ग्राउंड में जाएं। जहां बेहतर इंतजाम किए गए हैं। पुलिस ने अच्छा इंतजाम किया है, हम हर स्थिति के लिए तैयार हैं।