जयपुरः राजस्थान कांग्रेस ने प्रदेश चुनाव समिति का गठन कर दिया है। जिसमें कांग्रेस की ओर से एक बार फिर सचिन पायलट को झटका दिया गया है। माना जा रहा था कि पायलट को कांग्रेस चुनाव समिति का चेयरमैन बनाया जा सकता है। लेकिन ऐसा नहीं हो सका है। कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा को चुनाव समिति का अध्यक्ष बनाया गया है। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, सचिन पायलट, जितेंद्र सिंह, रामेश्वर डूडी समेत 28 नेताओं को मेंबर बनाया गया है। प्रदेश चुनाव समिति में 15 मंत्रियों को शामिल किया गया है। हरीश चौधरी, रघु शर्मा, मोहन प्रकाश, जुबेर खान को भी सदस्य बनाया गया है। कांग्रेस हाईकमान ने एक बार फिर सचिन पायलट के बजाय अशोक गहलोत गुट को तवज्जो दी है। आगामी विधानसभा चुनावों के मद्देनजर बनाई गई प्रदेश चुनाव समिति में गहलोत के सबसे नजदीकी नेता गोविन्द सिंह डोटासरा को चेयरमैन बनाया गया है। इस समिति के 29 सदस्यों में से 90 फीसदी सदस्य गहलोत गुट के हैं। पायलट गुट के नाममात्र सिर्फ 3 सदस्यों को इस समिति में शामिल किया गया है।
बता दें कि सचिन पायलट और अशोक गहलोत गुट के बीच बीते तीन साल से तनातनी चल रही है। सचिन पायलट ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को चुनौती देते हुए कई बार बगावती तेवर दिखाए। जबकि कांग्रेस आलाकमान ने हर बार अशोक गहलोत और सचिन पायलट में समझौता करवाया। कांग्रेस हाईकमान ने हर बार पायलट को आश्वासन देकर मनाया था। कांग्रेस सूत्रों के मुताबिक पार्टी आला कमान ने पायलट को विधानसभा चुनावों में बड़ी जिम्मेदारी देने का भरोसा दिया गया था। उन्हें चुनाव समिति का चेयरमैन बनाए जाने की चर्चाएं थी लेकिन ऐसा नहीं हो सका। चुनाव समिति की कमान गहलोत के खासम-खास नेता डोटासरा को दे दी गई। पायलट को डोटासरा के अधीन समिति का सदस्य बनाया गया है। सियासी गलियारों में चर्चा थी कि पायलट को फिर से प्रदेश कांग्रेस का अध्यक्ष बनाया जा सकता है। लेकिन अब जब उन्हें चुनाव समिति की जिम्मेदारी भी नहीं दी, तो ऐसे में कांग्रेस कमेटी का प्रदेश अध्यक्ष या फिर कोई बड़ा पद देने उम्मीद कम नजर आ रही है।
कांग्रेस हाईकमान की ओर से बनाई गई प्रदेश चुनाव समिति की सूची में सचिन पायलट गुट के सिर्फ 3 सदस्यों को शामिल किया गया है। पायलट के अतिरिक्त मुरारीलाल मीणा, जितेन्द्र सिंह और रघुवीर मीणा ही पायलट गुट के हैं। जबकि गहलोत गुट के चेयरमैन डोटासरा सहित खुद गहलोत और 23 अन्य सदस्य शामिल हैं। जिनमें रामेश्वर डूडी, मोहन प्रकाश, रघु शर्मा, हरीश चौधरी, लालचंद कटारिया, महेन्द्रजीत सिंह मालवीय, रामलाल जाट, प्रमोद जैन भाया, रमेश मीणा, उदयलाल आंजना, प्रताप सिंह खाचरियावास, सालेह मोहम्मद, ममता भूपेश, भजनलाल जाटव, गोविन्द राम मेघवाल, शकुंतला रावत, अशोक चांदना, राजेन्द्र यादव, सुखराम बिश्नोई, नीरज डांगी, धीरज गुर्जर, जुबैर खान और ललित तूनवाल शामिल हैं।