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पंचायत चुनाव में प्रदेश के इन जिलों में जमकर हुई हिंसा, जानें मतदान से लेकर मतगणना तक कितनी हिंसा और कितने लोग हुए गिरफ्तार

By RNI Hindi Desk 
Updated Date

रिपोर्ट: सत्यम दुबे

प्रयागराज: एक ओर  कोरोना महामारी के दूसरे लहर का कहर लगातार जारी है। कोरोना से संक्रमित मरीज ऑक्सीजन और दवाईयों की कमीं से लगातार दम तोड़ रहें हैं। पिछल कुछ समय से दिन की शुरुआत होते ही, कुछ न कुछ मनहूस खबर सुनने को मिल रहा है। अस्पतालों मे बेड,दवाईयों और ऑक्सीजन की कमीं से हाहाकार मचा हुआ है। तो वहीं दूसरी ओर प्रयागराज रेंज के चार जिलों में मतदान और मतगणना के दौरान जमकर बवाल और चार जिलों प्रयागराज, प्रतापगढ़, कौशाम्बी और फतेहपुर में चुनावी हिंसा की खबरें सामने आईं हैं।

आपको बता दें कि मतदान के दिन सबसे ज्यादा बवाल प्रतापगढ़ जिले में हुआ। यहां पर नौ जगहों पर बवाल के बाद 62 लोगों को पुलिस ने गिरफ्तार किया। वहीं दूसरे नम्बर पर फतेहपुर जिला रहा, जहां पर मतदान के दिन पांच स्थानों पर चुनावी रंजिश को लेकर मारपीट और वबाल की घटना हुई। जिसमें कार्रवाई करते हुए पुलिस ने दस लोगों को गिरफ्तार किया।

जबकि प्रयागराज की बात करें तो मतदान के दिन यहां से तीन मामले सामने में आये, लेकिन बवाल में शामिल 22 लोगों को पुलिस ने गिरफ्तार कर जेल भेजा। हांलाकि कौशाम्बी जिले में मतदान के दिन कोई बवाल नहीं हुआ। इस तरह से मतदान के दिन रेंज के चार जिलों में हिंसा के कुल 17 मुकदमे दर्ज किए गए। जिनमें 94 व्यक्तियों को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया। ये तो हो गई मतदान के दिन हुए बवाल का ऑकड़ा, अब देखते हैं मतगणना के दिन हुए बवाल का मामला।

दो मई को भी प्रयागराज रेंज में चुनावी हिंसा के कई मामले सामने आये। इस दौरान कौशाम्बी जिला मतगणना के दिन भी लगभग शान्त ही रहा और यहां पर कोई बवाल नहीं हुआ। वहीं मतगणना के दिन सबसे ज्यादा बवाल प्रयागराज जिले में हुआ। प्रयागराज जिले में चुनावी हिंसा के कुल 14 मुकदमे दर्ज किए गए और पुलिस ने 19 दंगाइयों और बलवाइयों को गिरफ्तार भी किया।

वहीं सबसे संवेदनशील जिले प्रतापगढ़ जिले में मतगणना के दिन दो मुकदमे दर्ज किए गए और चार लोगों को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया। जबकि फतेहपुर जिले में दो मुकदमे दर्ज कर तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया। इस तरह से मतगणना के दिन प्रयागराज रेंज में चक्का जाम, बवाल और पुलिस के साथ उलझने पर कुल दर्ज कुल 18 मुकदमों में 26 लोगों को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया।

प्रयागराज रेंज में हुए इस बवाल के बाद आईजी प्रयागराज रेंज केपी सिंह ने बताया कि पंचायत चुनाव के पहले पुलिस ने अपराधियों के खिलाफ बड़ी संख्या में निरोधात्मक कार्रवाई की थी, और 107/ 116 की भी कार्रवाई की थी। लाइसेंसी असलहे भी जमा कराये गए थे, ताकि चुनावी रंजिश में इसका प्रयोग न हो। जिसके चलते मतदान और मतगणना छिटपुट घटनाओं को छोड़कर शान्तिपूर्ण ढ़ंग से सम्पन्न हुई।

उन्होने आगे बताया कि पंचायत चुनाव 15 अप्रैल से 29 अप्रैल के बीच अलग-अलग चार चरणों में कराये गए। जिसमें भी बवाल और हिंसा पर पुलिस ने सख्त एक्शन लिया है। जिसकी वजह से मतगणना के दौरान कहीं पर कोई ज्यादा बवाल नहीं हुआ। आईजी के मुताबिक चुनावी हिंसा और बवाल में नामजद अभियुक्तों को पुलिस ने जहां गिरफ्तार कर जेल की सलाखों के पीछे पहुंचा दिया है, वहीं कानून व्यवस्था को कायम रखने के लिए चुनावी हिंसा में अज्ञात में शामिल अभियुक्तों की भी धरपकड़ पुलिस ने तेज कर दी है।

आईजी रेंज प्रयागराज ने आगे कहा कि पुलिस को अलर्ट कर दिया गया है। ऐसे संवेदनशील गांवों को चिन्हित कर अलग से पुलिस टीमों का गठन किया गया है। उनके मुताबिक वीडियो कांफ्रेन्सिंग के माध्यम से रेंज के सभी पुलिस कप्तानों को हर छोटी से छोटी शिकायतों को गम्भीरता से लेने और उस पर तत्काल एक्शन लेने का भी निर्देश दिया गया है, ताकि चुनावी रंजिश में होने वाली बड़ी घटनाओं को रोका जा सके। इसके साथ ही उन्होने कहा कि पुलिस को किसी भी घटना या सूचना को नजरंदाज नहीं करने के निर्देश दे दिए गए हैं।

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