पीएम मोदी रविवार को शाम 6 बजे वीडियो कान्फ्रेंसिंग के माध्यम से एक वैश्विक पहल 'लाइफस्टाइल फार द एनवायरनमेंट मूवमेंट' का शुभारंभ करेंगे। प्रधानमंत्री कार्यालय ने शनिवार को यह जानकारी दी।
पीएम मोदी रविवार को शाम 6 बजे वीडियो कान्फ्रेंसिंग के माध्यम से एक वैश्विक पहल ‘लाइफस्टाइल फार द एनवायरनमेंट मूवमेंट’ का शुभारंभ करेंगे। प्रधानमंत्री कार्यालय ने शनिवार को यह जानकारी दी।
पीएमओ के अनुसार दुनियाभर के लोगों, समुदायों और संगठनों को पर्यावरण के प्रति जागरूक जीवन शैली अपनाने व प्रभावित करने पर जोर दिया जाएगा। इस खास कार्यक्रम में शिक्षाविदों, विश्वविद्यालयों और अनुसंधान संस्थानों आदि से विचारों और सुझावों को आमंत्रित करने के साथ ही ‘लाइफ ग्लोबल काल फार पेपर्स’ लांच किया जाएगा
कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री मोदी मुख्य भाषण भी देंगे। कार्यक्रम में बिल एंड मेलिंडा गेट्स फाउंडेशन के सह-अध्यक्ष बिल गेट्स भी शामिल होंगे। जलवायु अर्थशास्त्री लार्ड निकोलस स्टर्न, नज थ्योरी के लेखक प्रोफेसर कैस सनस्टीन, विश्व संसाधन संस्थान के सीईओ और अध्यक्ष अनिरुद्ध दासगुप्ता इस कार्यक्रम में शामिल होंगे।
पिछले साल ग्लासगो में पार्टियों के 26वें संयुक्त राष्ट्र जलवायु परिवर्तन सम्मेलन के दौरान प्रधानमंत्री द्वारा LiFE का विचार पेश किया गया था। यह विचार एक पर्यावरण के प्रति जागरूक जीवन शैली को बढ़ावा देता है जो ‘दिमागहीन और विनाशकारी उपभोग’ के बजाय ‘सावधान और जानबूझकर उपयोग’ पर केंद्रित है।
हाल ही में वर्ल्ड इकोनामिक फोरम के दावोस एजेंडा 2022 में पीएम मोदी ने P3 (प्रो-प्लैनेट पीपल) मूवमेंट की शुरुआत की, जो भारत की जलवायु परिवर्तन प्रतिबद्धताओं को रेखांकित करता है। उन्होंने उन चुनौतियों की ओर इशारा किया था जो हमारी जीवनशैली के कारण जलवायु को प्रभावित करती हैं।
इस नई प्रतिज्ञा में देश की स्थापित नवीकरणीय क्षमता को 500 GW तक बढ़ाना, गैर-जीवाश्म ईंधन स्रोतों से अपनी ऊर्जा आवश्यकताओं का 50 प्रतिशत पूरा करना शामिल है। पेरिस में सीओपी 21 में भारत ने इसी तरह की महत्वाकांक्षी घोषणाएं कीं और 2030 तक 2005 के स्तर से अर्थव्यवस्था-व्यापी उत्सर्जन तीव्रता को 33-35 प्रतिशत तक कम करने का लक्ष्य रखा है।