पाकिस्तान में ननकाना साहिब एक पवित्र स्थान है लेकिन कल रात से ही यह सुर्खियों में है, दरअसल कल रात सैकड़ों की भीड़ ने गुरुद्वारे पर पत्थरबाजी की. भीड़ ने गुरुद्वारे को घेर लिया. नारे लगाए, मोहम्मद इमरान पर भीड़ का नेतृत्व करने का आरोप है, माना जाता है की वह मोहम्मद हसन का भाई जिस पर सिख लड़की जगजीत कौर का अपहरण, धर्म परिवर्तन और निकाह करने का आरोप है।
इस घटना के बाद भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने एक बयान जारी कर इस घटना की कड़ी निंदा की है, उन्होंने लिखा की सिख समुदाय पर हमला और गुरुद्वारे में तोड़फोड़ की घटना में दोषी लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए. पाकिस्तान सरकार पवित्र ननकाना साहिब गुरुद्वारे की पवित्रता को सुरक्षित और संरक्षित रखने के लिए कदम उठाए।
दरअसल यह जगह आज के पाकिस्तान में है, ननकाना साहिब पाकिस्तान के पंजाब प्रांत में है और लाहौर से करीब 60 किलोमीटर की दूरी पर है, 550 वर्ष पहले यहां सिख धर्म के संस्थापक गुरु नानक जी का जन्म हुआ था।
इसका पुराना नाम ‘राय-भोई-दी-तलवंडी’ था, चूंकि यह स्थान गुरू नानक देव का जन्मस्थान है इसलिये यह दुनिया भर के सिखों का पवित्र ऐतिहासिक स्थान (तीर्थ) है। गुरु नानक का जन्म तलवंडी नामक गांव में हुआ था।
गुरुनानक जी के बारे में कहा जाता है की उन्होंने अपना सबसे पहला उपदेश यही दिया था और सिखों के लिए उच्च ऐतिहासिक और धार्मिक मूल्य का एक शहर है। यहां पर लगभग 18,750 एकड़ जमीन पर गुरुद्वारे है।
ये जमीन तलवंडी गांव के एक मुस्लिम मुखिया राय बुलार भट्टी ने गुरु नानक को दी थी। ननकाना साहिब क्षेत्र शुरुआत में शेखपुरा जिले का एक तहसील था। 2005 में यह ननकाना साहिब नाम से अलग जिला बना।
गुरुनानक जी 15-16 वर्ष की उम्र तक तलवंडी में रहे थे। इसके बाद वह सुल्तानपुर लोधी चले गए जो अब भारतीय पंजाब के कपूरथला जिले में है। सुल्तानपुर लोधी में गुरुनानक की बहन बीबी नानकी रहती थीं।
ननकाना साहिब में गुरुद्वारा जन्मस्थान सहित 9 गुरुद्वारे हैं। गुरुद्वारा जन्मस्थान बेहद भव्य है, जहां बड़ी संख्या में सिख श्रद्धालु मत्था टेकने पहुंचते हैं। गुरुग्रंथ साहिब के प्रकाश स्थान के चारों ओर लंबी चौड़ी परिक्रमा है। श्रद्धालु इसी परिक्रमा में बैठकर शबद-कीर्तन का आनंद लेते हैं। यहां पवित्र सरोवर में श्रद्धालु स्नान करते हैं।
ननकाना साहिब में सुबह तीन बजे से ही श्रद्धालुओं का तांता लग जाता है। रंग-बिरंगी रोशनियों से जगमग करता ननकाना साहिब एक स्वर्गिक नजारा प्रस्तुत करता है। हॉल में बैठकर श्रद्धालु लंगर छकते हैं। पहले पंगत फिर संगत की शानदार प्रथा ढेरों गुण समेटे हुए है.
दुनियाभर से हजारों हिन्दू, सिख गुरु पर्व से कुछ दिन पहले ननकाना साहिब पहुंचते हैं और दस दिन यहां रहकर विभिन्न समारोहों में भाग लेते हैं। शानदार नगर कीर्तन निकाला जाता है। यात्रियों के ठहरने के लिए यहां कई सराय हैं।
दरअसल मोदी सरकार ने 1955 में बने नागरिकता कानून में संशोधन किया है, जिसके तहत पाकिस्तान, अफगानिस्तान और बांग्लादेश के सभी गैर मुस्लिम लोगो को भारत की नागरिकता देने का प्रावधान किया गया है। लेकिन देश के बुद्धिजीवी और एक ख़ास मीडिया गिरोह ने इस बिल को मुस्लिम विरोधी कहकर देश में हिंसा का माहौल बना दिया।
देश के गृह मंत्री अमित शाह ने खुद संसद में आंकड़े देते हुए कहा था की पाकिस्तान की आज़ादी के समय वहा 20 फीसदी हिन्दू थे और आज सिर्फ 4 फीसद बचे है क्योंकी या तो उन्हें मार दिया गया या फिर धर्म परिवर्तन करवा दिया गया तो ऐसे में इस बिल पर हल्ला क्यों हुआ ?
देश के एक ख़ास वर्ग ने बड़ी चालाकी से इस बिल के पास होते ही मुस्लिमो को भड़काना शुरू कर दिया और देश में बड़े पैमाने पर हिंसा हुई और इन पडोसी मुल्को में हिन्दुओ और बाकी अप्ल्संख्यको पर हो रहे अत्याचार से ध्यान भटका दिया।
लेकिन कल रात हुई घटना से एक बार फिर पाकिस्तान के काले चेहरे को उजागर किया है वही उन लिबरल लोगो की भी पोल खोल दी जो इमरान खान को शांति दूत और देश के PM को तानाशाह कहते है। कल खुले आम लोगो ने धमकियां दी की वो ननकाना साहिब को बर्बाद कर देंगे लेकिन यहां के बुद्धिजीवी वर्ग में मुंह में अब दही जम गया है।
सरे आम सिख भाइयो को धमकियां दी जा रही है, पिछले साल एक लड़की को ज़बरदस्ती घर से अगवा किया गया और उसका निकाह पढ़वा दिया गया लेकिन एक देश की टुकड़े टुकड़े गैंग को वो नहीं दिखता है, लेकिन हक़ीक़त ये है की इन सब घटनाओं से पीड़ित लोगो को अपने देश में जगह मिले इसलिए ही मोदी सरकार यह बिल लेकर आयी है।
वो कांग्रेस और बाकी पार्टिया क्या इस हक़ीक़त से मुंह मोड़ सकती है की पाकिस्तान में हिन्दुओ पर अत्याचार होते है ? क्या इन सबको यह दिखाई नहीं देता ? आखिर कौन है वो लोग जो इन 3 पड़ोसी मुल्को में सताये हुए लोगो को भारत नहीं आना देना चाहते ? हमे और आपको इस टुकड़े टुकड़े गैंग को पहचानने की जरूरत है।